नोटबंदी के मोदी सरकार के फैसले पर महाराष्ट्र के लोगों ने मुहर लगा दी है। यहां 147 नगर परिषदों और 17 नगर पंचायतों के चुनाव में बीजेपी ने जोरदार जीत हासिल की है। महाराष्ट्र के कुल 25 जिलों में ये चुनाव हुए थे। इन चुनावों को देवेंद्र फड़नवीस ही नहीं, केंद्र सरकार के लिए भी बेहद अहम माना जा रहा था। इस चुनाव में बीजेपी और शिवसेना के बीच गठबंधन था। भले ही ये चुनाव म्युनिसिपैलिटी के थे, लेकिन शिवसेना, कांग्रेस और एनसीपी सभी ने नोटबंदी से हो रही परेशानियों को मुद्दा बनाया था और इसे लेकर बीजेपी को कठघरे में खड़ा करने की कोशिश की थी। इस चुनाव में बीजेपी की जीत इसलिए भी अहम है क्योंकि माना जाता रहा है कि महाराष्ट्र के ग्रामीण इलाकों में बीजेपी की पकड़ शिवसेना या एनसीपी के मुकाबले कमजोर है।
पहले राउंड के इन चुनावों के अबतक के नतीजे कुछ इस तरह से रहे:
Maharashtra municipal council polls: Total seats declared 2501 (BJP 610, SS 402,NCP 482,INC 408,MNS 12,BSP 4,others- 583)
— ANI (@ANI_news) November 28, 2016
रविवार को हुई वोटिंग में कुल 70 फीसदी के करीब लोगों ने वोट डाले थे। कांग्रेस और एनसीपी को उम्मीद थी कि उन्हें नोटबंदी से पैदा गुस्से का फायदा मिलेगा, उधर बीजेपी महाराष्ट्र में अपने विकास कामों को चुनावी मुद्दा बना रही थी। शिवसेना ने भी चुनाव प्रचार के दौरान नोटबंदी का विरोध किया था। उन्हें लग रहा था कि ऐसा करके वो लोगों को अपने पक्ष में कर पाएंगे, लेकिन शिवसेना पर यह दांव उलटा पड़ा और उसके विजयी उम्मीदवारों की संख्या बीजेपी से काफी कम रहे। इन नतीजों से साफ हो गया है कि शहरों ही नहीं, बल्कि गांवों में भी काले धन के खिलाफ मोदी सरकार के अभियान से लोग खुश हैं। महाराष्ट्र में सूखे से परेशान गांवों में फड़नवीस सरकार ने जलयुक्त शिविर योजना चला रखी है ऐसा माना जा रहा है कि इसका भी बीजपी को काफी फायदा मिला है।
नगर परिषद अध्यक्ष पद पर भी बीजेपी भारी
इन चुनावों में नगर परिषद अध्यक्षों (चेयरमैन) के लिए भी साथ ही साथ वोटिंग कराई गई। खबर लिखे जाने तक आए नतीजों में 40 भाजपा नेता इस पद पर जीते। जबकि शिवसेना के 22 उम्मीदवारों को जीत हासिल हुई। कांग्रेस के 21 और एनसीपी के 13 नेता इस पद के लिए चुने गए। महाराष्ट्र में कुल चार राउंड में नगर निकायों के ये चुनाव हो रहे हैं। पहले राउंड के नतीजे आज घोषित किए गए हैं। अगले दौर के लिए 14 दिसंबर, 18 दिसंबर और 8 जनवरी को वोट डाले जाने हैं।